अगर आप छुट्टियों मे किसी हिल स्टेशन पर जाना का विचार बना रहे है, और आप किसी ऐसे हिलस्टेशन पर जाना चाहते है, जहा थोड़ी शांति और शुकुन हो। तो ये जगह आपके लिए अच्छी रहेगी। यह चारो तरफ से हिमालय से घिरा हुआ है। इसकी उचाई समुद्र तल से 9515 फुट है। यहां के पहाड़ बहुत ही मनमोहक है, और चोपता बुग्यालों की पृष्ठ्भूमि को दर्शाता है। बुग्याल दूर -दूर तक फैले मखमली हरे -हरे घास के मैदान हैं।
तुंगनाथ मंदिर
तुंगनाथ मंदिर समुद्र तल से 3460 मीटर की उचाई पर बना हुआ है। और यह मंदिर पांच केदारों मे सबसे ऊपर स्थित है। भगवन शिव के पांच केदारों मे से एक रूप यहाँ पर है। और यह मंदिर 2000 वर्ष पुराना माना जाता है,और कहा जाता है कि यह मंदिर पांडवो ने बनवया था, जो कि भगवान शिव को प्रसन करना चाहते थे। यह मंदिर चोपता से 3 KM दूर एक पहाड़ पर स्थित है।
यह लगभग 3 से 4 KM लम्बा रास्ता है, और इसको ट्रैक करके जाना पडता है। इस रास्ते मे आपको बहुत ही सुन्दर -सुन्दर द्रश्य देखने के लिए मिलेंगे । जिसकी प्राकृतिक खूबसूरती और हरयाली आपका मनमोहित कर देगी। यहां की नम हवा की खुशबू आपको तरो ताजा कर देगी, इस खूबसूरत स्थल से हिमालय की नंदादेवी ,त्रिसूल एवं चौखम्बा पर्वत श्रृंखला के विहंगम दृश्य दिखते हैं।
भारत का ये छोटा स्विट्ज़रलैंड हर साल कई क्रियाओं और साहसिक कार्यक्रमों का आयोजन भी करता है,जैसे: ट्रैकिंग,कैंपिंग,रॉक क्लाइम्बिंग आदि।
चंद्रशिला
चंद्रशिला का रास्ता तुंगनाथ मंदिर से होकर ही जाता है। यह तुंगनाथ से 1 KM और ऊंचाई पर है। चंद्रशिला आकर यह ट्रैक खत्म हो जाता है. और आपको बहुत ही अच्छा दृश्य दीखता है। और इस हिमालय के सामने दूसरे हिमालय छोटे दिखाई देते हैं।
चोपता कैसे जाए ?
ऋषिकेश से चोपता 246 km दूर है, और देवप्रयाग और रुद्रप्रयाग होते हुए जाना पड़ेगा । इसके लिए ऋषिकेश से आपको बस या टैक्सी की सुविधा उपलब्ध हैं ।
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