भारत (India) और अमेरिका (America) की सेनाएं इस समय अमेरिकी सैनिक अड्डे लेविस मेकॉर्ड (LEWIS McCHORD) में साझा युद्धाभ्यास कर रही हैं। इन दिनों भारतीय सैनिकों का एक दस्ता अपना रणकौशल अमेरिका में दिखा रहा है। 5 सितंबर से शुरू हुए युद्ध अभ्यास-2019 में भारतीय सेना अमेरिकी सेना के साथ मिलकर अपनी युद्धक क्षमताओं को निखार रही है।
वाशिंगटन के नजदीक ज्वॉइंट बेस लुईस मैककॉर्ड में 5 सितम्बर से शुरू हुए इस साझा सैन्य अभ्यास में विभिन्न प्रकार की सैन्य कार्रवाइयां की जा रही हैं, ताकि एक दूसरे के संगठनात्मक ढांचे एवं युद्ध प्रक्रियाओं को समझा जा सके।
यह अभ्यास 18 सितंबर तक चलेगा जिसमें साझा युद्धकौशल, आतंकवाद के विरुद्ध कार्रवाई और आपसी समन्वय पर जोर दिया जाएगा। इसी बीच एक वीडियो वायरल हो रहा है जिसमें अमरीकी सेना के जवानो के साथ भारतीय सैनिक गीत ‘बदलू राम का बदन’ (Badluram ka badan) पर कदम से कदम मिलाते नज़र आ रहे हैं। देखिए जोश से भर देने वाला यह वीडियो और जानिए कौन थे बदलू राम जिन पर लिखा गीत रेजीमेंट का गीत बन गया।
देखिए Video..
#WATCH Indian and American soldiers sing and dance on the Assam Regiment's marching song ‘Badluram ka badan zameen ke neeche hai’ during Exercise 'Yudhabhyas' being carried out at Joint Base Lewis, McChord in the United States of America pic.twitter.com/6vTuVFHZMd
— ANI (@ANI) September 15, 2019Related Articles
कौन थे बदलू राम
बदलूराम वर्ल्ड वॉर टू के समय असम रेजीमेंट के सैनिक थे। युद्ध के समय जवान बदलू राम शहीद हो गए थे लेकिन उनकी शहादत के बारे में किसी को जानकारी नहीं मिल सकी। इसका नतीता यह हुआ कि उनके हिस्से का राशन भेजा जाता रहा। इसकी वजह से अतिरिक्त राशन इकट्ठा हो गया। इसी बीच जापान की सेना ने असम रेजीमेंट को चारो ओर से घेर लिया और हर लॉजिस्टिक सपोर्ट की सप्लाई कट कर दी। लेकिन बदलूराम को भेजा गया राशन उनके काम आ गया। अगर यह राशन वहां नहीं होता तो शायद कई सैनिक भूख से मर जाते।
असम रेजीमेंट की स्थापना 15 जून 1941 को शिलॉन्ग में हुई थी। इस रेजीमेंट की स्थापना का मकसद जापान के बढ़ते खतरे का सामना करना था।
क्या हैं गाने के बोल
एक खूबसूरत लड़की थी
उसको देख के राइफलमैन
चिन्दी खींचना भूल गया
हवालदार मेजर देख लिया
उसको पिट्टू लगाया
बदलूराम एक सिपाही था
जापान वॉर में मर गया
क्वार्टर मास्टर स्मार्ट था
उसने राशन निकला
बदलूराम का बदन ज़मीन के नीचे हैं
तो हमें उसका राशन मिलता हैं
शाबाश हलिलुय
तो हमें उसका राशन मिलता हैं
इसी गाने पर नए ऑफिसर्स लेते हैं कसम
आज असम रेजीमेंट की 25 बटालियन हैं। इस रेजीमेंट के ज्यादातर जवानों की भर्ती नॉर्थ ईस्ट के राज्यों से होती है। असम रेजीमेंट सेना की इंफ्रेंटी रेजीमेंट है। ‘बदलू राम का बदन’ इस रेजीमेंट का वह गीत है जो हर जगह मशहूर है। रेजीमेंट की पासिंग आउट परेड के दौरान जब नए सैनिकों की भर्ती होती है तो इसी गीत पर शिलॉन्ग के रेजीमेंटल सेंटर पर जश्न मनाया जाता है। ‘कसम परेड’ के दौरान युवा सैनिक इस गाने के साथ अपने कदम आगे बढ़ाते हैं। वर्ल्ड वॉर टू के समय देश में ब्रिटिश शासन था।
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